टी.एच.आर. वितरण में आ रही दिक्कतों को लेकर आंगनबाड़ी संघ चिंतित, शासन से समाधान की मांग, धरना स्थल से कलेक्ट्रेट कार्यालय तक रैली निकाल सौंपे ज्ञापन

मुंगेली ।  छत्तीसगढ़ प्रसार । महिला एवं बाल विकास विभाग द्वारा टी.एच.आर. (Take Home Ration) वितरण की डिजिटल प्रणाली लागू करने से आंगनबाड़ी कार्यकर्ताओं और हितग्राहियों को कई व्यवहारिक समस्याओं का सामना करना पड़ रहा है। ओटीपी आधारित सत्यापन प्रणाली, नेटवर्क समस्या और मोबाइल की उपलब्धता जैसे कारणों से हितग्राहियों को पोषण आहार मिलने में बाधा आ रही है। इसे लेकर आंगनबाड़ी कार्यकर्ता सहायिका संयुक्त मंच (छत्तीसगढ़) ने शासन को ज्ञापन सौंपकर समाधान की मांग की है। संघ ने बताया कि ओटीपी सत्यापन प्रणाली के कारण परिवार का केवल एक ही सदस्य हर माह टी.एच.आर. ले सकता है, जिससे कई हितग्राही इससे वंचित हो जाते हैं। कई लोगों के पास मोबाइल नहीं होते, या फिर घर का एकमात्र मोबाइल परिवार के अन्य सदस्य अपने साथ ले जाते हैं, जिससे वे ओटीपी जनरेट नहीं कर पाते। गाँवों में नेटवर्क और सर्वर की समस्या भी बनी हुई है, जिससे डिजिटल प्रणाली प्रभावी ढंग से काम नहीं कर पा रही। संघ ने यह भी बताया कि कई जिलों में आंगनबाड़ी कार्यकर्ताओं को अभी तक मोबाइल और प्रशिक्षण नहीं मिला है, जिससे वे इस नई प्रणाली को सही से संचालित नहीं कर पा रही हैं। पोषण ट्रैकर एप पर फोटो अपलोड करने की अनिवार्यता के कारण भी कई क्षेत्रों में पोषण आहार वितरण प्रभावित हो रहा है।संघ ने सुझाव दिया कि टी.एच.आर. वितरण की जिम्मेदारी किसी अन्य एजेंसी को दी जाए या इसे पहले की तरह ऑफलाइन किया जाए। सभी आंगनबाड़ी कार्यकर्ताओं को मोबाइल और प्रशिक्षण दिया जाए, साथ ही प्रत्येक कार्यकर्ता के मोबाइल रिचार्ज के लिए 500 रुपये प्रतिमाह स्वीकृत किए जाएँ। उन्होंने यह भी कहा कि इन समस्याओं के कारण मानदेय में की जा रही कटौती पूरी तरह अनुचित है, जिसे तत्काल रोका जाए। संघ ने शासन से मांग की है कि जल्द से जल्द इन समस्याओं का समाधान निकाला जाए, ताकि हितग्राहियों को समय पर पोषण आहार मिल सके और आंगनबाड़ी कार्यकर्ता बिना किसी डर और बाधा के अपने कार्यों का निष्पादन कर सकें। संघ ने आज धरना स्थल से कलेक्ट्रेट कार्यालय तक रैली निकाल ज्ञापन सौंपे।

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